पर्यावरण एवं पारिस्थितिकी समसामयिकी 1 (12-June-2021)
‘धरोहर वृक्षों’ के संरक्षण हेतु महाराष्ट्र सरकार द्वारा संशोधन प्रस्तावित
(Amendment proposed by the Government of Maharashtra for the protection of 'Heritage Trees')

Posted on June 13th, 2021 | Create PDF File

hlhiuj

हाल ही में, महाराष्ट्र सरकार ने ‘धरोहर वृक्षों’ या ‘हेरिटेज ट्रीज’ (Heritage Trees) के संरक्षण हेतु प्रावधान लागू करने के लिए ‘महाराष्ट्र (शहरी क्षेत्र) वृक्ष सुरक्षा एवं संरक्षण अधिनियम’ 1975(Maharashtra (Urban Areas) Protection and Preservation of Trees Act of 1975) में संशोधन का प्रस्ताव प्रस्तुत किया है।

 

‘धरोहर वृक्ष’ या ‘हेरिटेज ट्री’ :

 

लगभग 50 वर्ष या उससे अधिक की आयु वाले वृक्ष को ‘धरोहर वृक्ष’ के रूप में परिभाषित किया जाएगा।

 

इनमे, समय-समय पर अधिसूचित, वृक्षों की कई विशिष्ट प्रजातियां शामिल की जा सकती हैं।

 

‘धरोहर वृक्ष’ की अवधारणा प्रस्तुत करने का कारण:

हेरिटेज ट्री को विशेष सुरक्षा प्रदान की जाएगी।

 

प्रतिपूरक वृक्षारोपण (Compensatory plantation)– किसी ‘धरोहर वृक्ष’ को काटने पर, इसकी आयु के बराबर संख्या में नए वृक्ष लगाने होंगे।

 

प्रतिपूरक वृक्ष लगाने वाले संगठन को सात वर्षों तक इन नए वृक्षों की सुरक्षा सुनिश्चित करनी होगी और वृक्षों को जियो-टैग (Geo-Tag) करना होगा।

 

यदि प्रतिपूरक वृक्षारोपण संभव नहीं होता है, तो पेड़ काटने वाले को, काटे जा रहे पेड़ों के आर्थिक मूल्यन के बराबर मुआवजा देना होगा।

 

वृक्ष प्राधिकरण:

प्रस्तावित संशोधनों के अनुसार, स्थानीय नगर निकायों और परिषदों में ‘वृक्ष प्राधिकरण’ (Tree Authority) का गठन किया जाएगा, जो वृक्षों के संरक्षण के संबंध में सभी निर्णय लेगा।

 

यह प्राधिकरण, हेरिटेज वृक्षों की गिनती के साथ-साथ, हर पांच साल में सभी वृक्षों की गणना भी सुनिश्चित करेगा।

 

वृक्ष प्राधिकरण को “शहरी क्षेत्रों में वृक्षावरण बढ़ाने और मौजूदा वृक्षों की सुरक्षा करने” का कार्य सौंपा गया है।