नीतिशास्त्र का राजनीति विज्ञान से क्या सम्बन्ध है?(what is the relation between ethics and political science?)
Posted on March 17th, 2020
नीतिशास्त्र का आंशिक संबंध राजनीति विज्ञान से भी है। राजनीति विज्ञान भी नीतिशास्त्र की भांति मानव व्यवहार का अध्ययन करता है। प्रायः इस पर प्रश्न उठाया जाता है कि क्या राजनीति विज्ञान को विज्ञान की संज्ञा दी जानी चाहिए। वास्तव में प्रारंभ में राजनीति विज्ञान का स्वरूप एक वैचारिक चिंतन था, जिसका अध्ययन राजनीतिक चिंतन के रूप में राजनीति विज्ञान के अंतर्गत किया जाता है। राजनीतिक चिंतन के अंतर्गत कुछ सिद्धान्तों की स्थापना का प्रयास किया जाता है जो आज राजनीतिक सिद्धान्त के रूप में राजनीति विज्ञान की एक प्रमुख शाखा है। वास्तव में इन सिद्धान्त की स्थापना में ही आनुभविक तथ्यों को ध्यान में रखा जाता है। इन आनुभविक तथ्यों के सैद्धान्तीकरण के कारण ही राजनीतिशास्त्र को विज्ञान संज्ञा देना प्रारम्भ किया गया। यद्यपि यह समकालीन चिंतन की देन है। राजनीति विज्ञान एवं नीतिशास्त्र में मानव व्यवहार का तथ्यात्मक अध्ययन ही एकमात्र समानता है लेकिन जहाँ राजनीति विज्ञान इन तथ्यों के सैद्धान्तीकरण का प्रयास करता है वहीं नीतिशास्त्र इसे केवल आकारिक रूप देता है। अर्थात् अध्ययन की दोनों विधाओं का उद्गम एक होते हुए भी दोनों अपने स्वरूप की विशेषता के कारण दो भिन्न निष्कर्ष पर पहुंचते हैं।
नीतिशास्त्र का राजनीति विज्ञान से क्या सम्बन्ध है?(what is the relation between ethics and political science?)
नीतिशास्त्र का आंशिक संबंध राजनीति विज्ञान से भी है। राजनीति विज्ञान भी नीतिशास्त्र की भांति मानव व्यवहार का अध्ययन करता है। प्रायः इस पर प्रश्न उठाया जाता है कि क्या राजनीति विज्ञान को विज्ञान की संज्ञा दी जानी चाहिए। वास्तव में प्रारंभ में राजनीति विज्ञान का स्वरूप एक वैचारिक चिंतन था, जिसका अध्ययन राजनीतिक चिंतन के रूप में राजनीति विज्ञान के अंतर्गत किया जाता है। राजनीतिक चिंतन के अंतर्गत कुछ सिद्धान्तों की स्थापना का प्रयास किया जाता है जो आज राजनीतिक सिद्धान्त के रूप में राजनीति विज्ञान की एक प्रमुख शाखा है। वास्तव में इन सिद्धान्त की स्थापना में ही आनुभविक तथ्यों को ध्यान में रखा जाता है। इन आनुभविक तथ्यों के सैद्धान्तीकरण के कारण ही राजनीतिशास्त्र को विज्ञान संज्ञा देना प्रारम्भ किया गया। यद्यपि यह समकालीन चिंतन की देन है। राजनीति विज्ञान एवं नीतिशास्त्र में मानव व्यवहार का तथ्यात्मक अध्ययन ही एकमात्र समानता है लेकिन जहाँ राजनीति विज्ञान इन तथ्यों के सैद्धान्तीकरण का प्रयास करता है वहीं नीतिशास्त्र इसे केवल आकारिक रूप देता है। अर्थात् अध्ययन की दोनों विधाओं का उद्गम एक होते हुए भी दोनों अपने स्वरूप की विशेषता के कारण दो भिन्न निष्कर्ष पर पहुंचते हैं।