आकाशवाणी सार (27-Apr-2020)
AIR News Gist

Posted on April 27th, 2020 | Create PDF File

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मुख्य समाचार-

* प्रधानमंत्री ने कहा- मास्क कोरोना वायरस संक्रमण की रोकथाम में सबसे अधिक कारगर है। लोगों से थूकने जैसी बुरी आदत छोड़ने की अपील की।

* भारत में कोविड-19 रोगियों के ठीक होने की दर 22 प्रतिशत हुई।

* कोविड-19 का इलाज करने वाले चिकित्साकर्मियों के लिए व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण की निर्माण क्षमता प्रतिदिन एक लाख से अधिक हुई।

* उत्तर प्रदेश सरकार ने 30 जून तक सभी सार्वजनिक समारोहों पर रोक लगाई।

* भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान तथा भारतीय सूचना प्रॉद्योगिकी संस्थान शैक्षिक वर्ष 2020-21 के लिए ट्यूशन फीस नहीं बढ़ाएंगे।

* लखनऊ का किंग जॉर्ज चिकित्‍सा विश्‍वविद्यालय, कोविड-19 का प्‍लाज्‍मा थेरेपी से सफलतापूर्वक उपचार करने वाला देश का पहला सरकारी अस्‍पताल बना।

* संयुक्‍त राष्‍ट्र ने चेतावनी दी-भोजन के लिए धन की कटौती होने पर दुनियाभर के करोडों लोग भुखमरी के शिकार होंगे।

* प्रधानमंत्री नरेन्‍द्र मोदी ने कोविड-19 से निपटने के लिए मुख्‍यमंत्रियों सेचर्चा की। कहा- लॉकडाउन ने हजारों जिंदगियां बचायी हैं।

* प्रधानमंत्री ने ''दो गज दूरी'' का मंत्र फिर से दोहराते हुए कहा- मास्‍कऔर चेहरे को ढकना कोरोना के खिलाफ लडाई में जिंदगी का अंग बन जाएगा।

* 25 राज्‍यों और केन्‍द्र शासित प्रदेशों के 85 जिलों में पिछले 14 दिन के दौरानकोविड-19 का कोई नया मामला सामने नहीं आया।

* स्‍वास्‍थ्‍य मंत्रालय ने कहा- कोविड-19 क‍े ठीक हुए मरीज प्‍लाज्‍मा थेरेपी में मददगार साबित हो सकते हैं।

* लॉकडाउन के दौरान मनरेगा के तहत कृषि और प्रवा‍सी मजदूरों को रोजगार उपलब्‍ध कराया जा रहा है।

* रिजर्व बैंक ने म्‍यूचुअल फंड कंपनियों पर दवाब कम करने के लिए पचास हजार करोडरूपए की विशेष नकद सुविधा की घोषणा की।

 

समाचार विस्तार से-

* देश में कोविड-19 रोगियों के ठीक होने की दर सुधरकर करीब 22 प्रतिशत तक पहुंच गई है। इस समय  वैश्विक स्तर पर 7 प्रतिशत की तुलना में देश में कोविड के रोगियों की मृत्यु दर केवल 3.1 प्रतिशत है। केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ हर्षवर्धन ने कल नई दिल्‍ली में अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान के ट्रॉमा सेंटर का दौरा करते हुए यह बात कही। उन्होंने कहा कि कोविड के 5,913 लोग अब तक ठीक हो चुके हैं और देश में कोरोना संकट की स्थिति में सुधार हो रहा है।

डॉ हर्षवर्धन ने कहा कि देश के 283 जिलों में कल तक किसी भी कोविड-19 मामलों की रिपोर्ट दर्ज नहीं हुई है। वेंटिलेटर, ऑक्सीजन की आपूर्ति और आई सी यू बेड की पर्याप्तता पर स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि आई सी यू में केवल 2.17 प्रतिशत रोगियों को ही भर्ती किया गया है, 1.29 प्रतिशत रोगियों को ऑक्सीजन की आवश्यकता है।

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* देश में कोविड-19 महामारी से पीडि़त रोगियों का उपचार कर रहे चिकित्‍सा कर्मियों के लिए व्यक्तिगत सुरक्षा के आवश्‍यक उपकरणों का उत्‍पादन एक लाख से अधिक प्रतिदिन पर पहुंच गया है। व्‍यक्तिगत सुरक्षा उपकरण पी पी के उत्‍पादन में बेंगलुरू मुख्‍य केन्‍द्र बनकर उभरा है। लगभग 50 प्रतिशत उपकरणों का उत्‍पादन बेंगलुरू में हो रहा है। इसके अलावा कोलकाता, दिल्‍ली, नोएडा, गुरूग्राम और अन्‍य स्‍थानों पर भी पी पी किट बनाये जा रहे हैं। अभी तक देश में कुल मिलाकर दस लाख पी पी बनाये जा चुके हैं।

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* भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान-आईआईटी और भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी संस्थान शैक्षिक वर्ष 2020-21 के लिए किसी भी पाठ्यक्रम में ट्यूशन फीस नहीं बढ़ाएंगे। मानव संसाधन विकास मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक ने यह जानकारी दी। उऩ्होंने बताया कि आईआईटी परिषद की स्थाई समिति के अध्यक्ष और संस्थानों के निदेशकों के साथ कोविड-19 संकट पर  विचार-विमर्श के बाद यह निर्णय लिया गया है।

श्री निशंक ने बताया कि केन्द्र सरकार द्वारा संचालित भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी संस्थानों के बारे में फैसला लिया गया है कि स्नातक पाठ्यक्रमों के लिए ट्यूशन फीस में हर वर्ष होने वाली दस प्रतिशत बढ़ोत्तरी इस वर्ष नहीं की जाएगी। उन्होंने बताया कि सरकारी-निजी साझेदारी वाले सूचना प्रौद्योगिकी संस्थानों से भी कहा गया है कि आगामी शैक्षिक वर्ष में किसी भी पाठ्यक्रम की ट्यूशन फीस नहीं बढ़ाई जाए।

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* कोविड-19 महामारी के कारण देश में लगाए गये पूर्णबंदी के दौरान लाइफलाइन उड़ान के ज़रिए 684 टन आवश्यक वस्‍तुएं और चिकित्सा सामग्री देश के विभिन्न हिस्सों में पहुंचाई गईं। कोविड-19 से लड़ने में आवश्यक वस्तुओं और चिकित्सा सामग्री को देश के सुदूर भागों तक पहुंचाने के लिए  नागरिक उड्डयन मंत्रालय लाइफलाइन उड़ानें संचालित कर रहा है। 

लॉकडाउन के दौरान देश के दूरदराज इलाकों में आवश्‍यक दवायें और चिकित्‍सा सामग्री पहुंचाने के लिए लाइफलाइन उड़ान सेवा की शुरूआत की गई थी। लाईफलाइन उड़ानों ने अब तक तीन लाख किलोमीटर से अधिक हवाई दूरी तय की है। एयर इंडिया, भारतीय वायु सेना और निजी विमान कंपनियों द्वारा इसके तहत 383 उड़ाने संचालित की गई है। पवन हंस सहित हैलिकाप्‍टर सेवा जम्मू-कश्‍मीर, लद्दाख, पूर्वोत्‍तर और द्वीप क्षेत्रों में संचालित हो रही है। जो महत्‍वपूर्ण चिकित्‍सा उपकरण और रोगियों को पहुंचाने का काम कर रहे हैं। वहीं घरेलू कार्गो ऑपरेटर स्‍पाइजेट, ब्‍ल्‍यूडार्ट और इंडिगो उड़ाने जिस आधार पर कार्गो उड़ाने संचालित कर रहे हैं। इन कार्गो में बड़ी मात्रा में चिकित्‍सा उपकरण, परीक्षण कीट, मास्‍क और दस्‍तानें शामिल है। 

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* ऑटो मोबाइल कम्‍पनी मारूति सुजुकी अब देश में कम लागत के वेंटिलेटर बनाने और कोविड-19 के खिलाफ लडाई में सरकार की मदद करने की तैयारी कर रही है। कम्‍पनी ने उत्‍तर प्रदेश के गौतमबुद्ध नगर में एक स्‍टार्टअप को वेंटिलेटर निर्माण में सहायता देनी शुरू की है।

कम्‍पनी की विशेषज्ञता और क्षमताओं से बडे पैमाने पर कम लागत के वेंटिलेटर तैयार होने की संभावना है।

कार उत्‍पादन के मामले में देश में घर-घर में जाना पहचाना नाम बन चुकी मारूति सु‍जूकी अब अपनी क्षमता और विशेषज्ञता का इस्‍तेमाल बड़े पैमाने पर कम कीमत के वेंटीलेटर बनाने में कर रही है, जो कोरोना वायरस से संक्रमित लोगों की जान बचाने में काम आएंगे। मारूति सुजूकी इं‍ड्र‍स्‍टी लिमिटेड के अध्‍यक्ष आर.सी. भार्गव ने आकाशवाणी समाचार के साथ खास बातचीत में कहा कि सरकार ने उनसे मार्च के अंत में संपर्क किया और महज 20 दिनों के भीतर ही उत्‍पादन काफी तेजी से बढ़ गया है। ये कम कीमत के वेंटीलेटर एग्‍वा हैल्‍थ केयर ने डिजाइन किए हैं और मारूति सुजूकी इसके उत्‍पादन से जुड़े कच्‍चे माल की आपूर्ति करने वाली फर्मों को साथ लाने और गुणवत्‍ता निर्धारण के जरिये इस उत्‍पादन को बढ़ाने का काम कर रही है। मारूति सुजूकी के अध्‍यक्ष आर.सी भार्गव ने उत्‍पादन और उससे जुड़े दूसरे मामलों में केन्‍द्र और राज्‍य सरकार के सहयोग की जम कर तारीफ की। इस समय गौतम बुद्ध नगर के उत्‍पादन केन्‍द्रों में कुल उत्‍पादन लगभग 1200 युनिट तक और कंपनी को उम्‍मीद है कि वो सरकार द्वारा दिये गये  10 हजार वेंटीलेटरों के आर्डर को एक महीने के भीतर पूरा कर लेगी।  

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* उत्‍तर प्रदेश में सभी सार्वजनिक समारोहों पर 30 जून तक प्रतिबंध लगा दिया गया है। मुख्‍यमंत्री योगी आदित्‍यनाथ ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि कोरोना वायरस संकट के कारण 30 जून तक कोई जनसभा आयोजित करने की अनुमति नहीं दी जानी चाहिए। उन्होंने कहा कि इस बारे में आगे कोई भी निर्णय परिस्थिति पर निर्भर करेगा।

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* सरकार ने व्हाट्सऐप पर भेजे जा रहे इस दावे को गलत बताया है कि आयुष मंत्रालय ने होम्योपैथ डॉक्टरों को कोविड-19 के उपचार की अनुमति दे दी है। पत्र सूचना कार्यालय-पीआईबी ने इस दावे को गलत बताया है। पीआईबी ने बताया कि आयुष मंत्रालय ने केवल कोविड-19 के उपचार में आयुष की भूमिका से संबंधित छोटी अवधि के अऩुसंधान प्रस्तावों की प्रणाली तैयार की है।

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* पाकिस्‍तान में कोरोना वायरस से संक्रमित लोगों की संख्‍या तेरह हजार तीन सौ चार हो गई है। कल एक ही दिन में एक हजार पांच सौ आठ संक्रमित लोगों का पता चला। देश के एक शीर्ष चिकित्‍सा संस्‍थान-पाकिस्‍तान इस्‍लामिक मेडिकल एसोसिएशन के अध्‍यक्ष डॉक्‍टर  इफ्तिखार बर्नी ने  चेतावनी दी थी कि मस्जिद, संक्रमण फैलाव का मुख्‍य जरिया बन रहे हैं। संस्‍थान ने लोगों से रमजान के दौरान घरों में रहकर ही नमाज अदा करने का आग्रह किया था।

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नीदरलैंड में दो पशु फार्मों में मिंक पशु में कोरोना वायरस पाया गया है। नीदरलैंड के कृषि मंत्रालय ने बताया कि इन फार्मों के दो कर्मचारियों में कुछ दिनों पहले कोरोना के लक्षण पाये गये थे इसलिए लगता है कि मानवों से यह वायरस पशुओं में पहुंच गया है।

पशुओं के संक्रमित होने की यह पहली घटना नहीं है। इससे पहले भी न्यूयॉर्क में दो पालतू बिल्लियों और ब्रांक्स चिड़ियाघर में कुछ चीतों और शेरों में कोरोना की पुष्टि हुई थी।

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* केरल में 3 मई या उसके बाद लॉकडाउन खत्‍म होने पर खाडी क्षेत्र में फंसे लोगों को लाने के लिए विशेष उडानों के संचालन की व्यापक तैयारी की जा रही है। मुख्‍यमंत्री पिनरई वियजन ने खाडी देशों और अन्‍य राज्‍य से आने वाले लोगों को क्‍वारंटीन में रखने की समीक्षा की। हमारे संवाददाता ने बताया कि केरल सरकार साढे चार लाख लोगों को वापस लाएगी। इसके लिए खाडी देशों में पंजीकरण की प्रक्रिया शुरू हो गई है।

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* प्रधानमंत्री नरेन्‍द्र मोदी ने कहा है कि कोविड-19 महामारी के कारण लॉकडाउन के सकारात्‍मक परिणाम मिले है, क्‍योंकि देश पिछले डेढ़ महीने से हजारों लोगों का जीवन बचाने में सफल रहा है। उन्‍होंने इस महामारी से निपटने से उत्‍पन्‍न स्थिति और कार्य योजना पर चर्चा के लिए वीडियो कांफ्रेंस के माध्‍यम से राज्‍य के मुख्‍यमंत्रियों के साथ बातचीत करते हुए ये बात कही। प्रधानमंत्री की मुख्‍यमंत्रियों के साथ यह इस तरह की चौ‍थी बैठक थी। श्री मोदी ने कहा कि भारत की जनसंख्‍या कई देशों की जनसंख्‍या के बराबर है। भारत सहित कई देशों की स्थिति मार्च के प्रारम्‍भ में लगभग एक जैसी थी, लेकिन समय से कदम उठाये जाने के कारण भारत बहुत लोगों की रक्षा करने में सफल रहा। श्री मोदी ने चेतावनी दी कि इस वायरस का खतरा अभी बना हुआ है और लगातार सावधानी ही सबसे अधिक महत्‍वपूर्ण है।


'दो गज दूरीके मंत्र को दोहराते हुए उन्‍होंने कहा कि मास्‍क और चेहरा ढकना आने वाले दिनों में लोगों के जीवन का हिस्‍सा बन जाएंगे। उन्‍होंने कहा कि इन परिस्थितियों के अंतर्गत प्रत्‍येक व्‍यक्ति का उद्देश्‍य त्‍वरित प्रतिक्रिया होनी चाहिए। प्रधानमंत्री ने बताया कि कई लोग स्‍वयं ही घोषित कर रहे है कि उन्‍हें खांसी, जुकाम या कोई अन्‍य लक्षण है और यह स्‍वागत योग्‍य चिन्‍ह है। प्रधानमंत्री ने कहा कि अर्थव्‍यवस्‍था और कोविड-19 के खिलाफ संघर्ष को महत्‍व दिया जाना चाहिए। एक रिपोर्ट


देशव्‍यापी लॉकडाउन की घोषणा के बाद प्रधानमंत्री ने आज तीसरी वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये मुख्‍यमंत्रियों के साथ बातचीत की। इससे पहले, 11 अप्रैल को हुए वीडियो कांफ्रेंसिंग के दौरान कई मुख्‍यमंत्रियों ने श्री मोदी को लॉकडाउन बढ़ाने का अनुरोध किया था। तीन दिन बाद राष्‍ट्र को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने लॉकडाउन को 3 मई तक बढ़ाये जाने के बारे में घोषणा की थी। कल अपने मासिक रेडियो कार्यक्रम कम की बात के दौरान प्रधानमंत्री ने लोगों से सावधान रहने और सावधानी बरतने  का आग्रह किया था। उनका यह आग्रह आर्थिक गतिविधियों को पुनर्जिवित करने के लिए केंद्र और राज्‍य सरकारों द्वारा धीरे-धीरे दी जा रहे छूट के दौरान आया है। 

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* कोविड-19 के रोगियों के इलाज में प्‍लाज्‍मा थेरेपी एक महत्‍वपूर्ण साधन के रूप में उभरकर सामने आया है। अमरीका, ब्रिटेन और चीन जैसे देशों ने कोविड-19 के मरीजों के उपचार के लिए नैदानिक परीक्षण शुरू कर दिया है। भारत के औषधि महानियंत्रक ने कोविड-19 के रोगियों के लिए इलाज के लिए आईसीएमआर के मानकों के तहत प्‍लाज्‍मा थेरेपी के परीक्षण की अनुमति दे दी है।


प्‍लाज्‍मा थेरेपी का पहले की वायरल महामारी में उपयोग किया जा चुका है। वर्ष 2018 में अफ्रीका में इबोला प्रकोप के दौरान यह बहुत प्रभावी रहा था। प्‍लाज्‍मा थेरेपी का मूल सिद्धांत स्‍वस्‍थ व्‍यक्ति की प्रतिरोधक शक्ति का किसी बीमार व्‍यक्ति में उपयोग में लाना है। इसके उपचार में कोविड-19 की बीमारी से स्‍वस्‍थ हुए व्‍यक्ति से रक्‍त लिया जाता है और बाद में एंटीबॉडीज को प्रभावहीन करने के लिए विषाणुओं की जांच के बाद सीरम से अलग किया जाता है। यह सीरम कोरोना विषाणु एंटीबॉडी से समृद्ध होता है और इसे बाद में कोविड-19 के मरीजों को दिया जाता है। इस तरह से कोविड-19 के रोगियों की प्रतिरोधी क्षमता में वृद्धि होती है। किंग जॉर्ज मेडिकल युनिवर्सिटी, लखनऊ के कुलपति प्रोफेसर एमएलबी भट्ट ने बताया कि ये थेरेपी कोरोना से गंभीर रूप से प्रभावित मरीजों के लिए है।


प्‍लाजमा थैरेपी सीरियस पेंसेंट्स के लिए ही सबसे कारगर है जीवन रक्षक प्रणाली के रूप में क्‍योंकि कोई भी एंटी वायरल या कोई स्‍पैसीफिक ट्रीटमेंट या कोई वैक्सिन उपलब्‍ध नहीं है इस बीमारी के लिए।


ये थेरेपी मरीजों की सहमति के बाद ही ली जाती है। कोविड-19 के कई मामलों में इस थेरेपी की सफलता से लोगों में आशा की किरण जागी है, क्‍योंकि वैज्ञानिक इस महामारी के फैलाव पर रोक लगाने के लिए टीका तैयार करने में लगातार काम कर रहे हैं। 

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* उत्‍तर प्रदेश का किंग जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी कोविड-19 के उपचार के लिए प्‍लाज्‍मा थेरेपी सफलतापूर्वक शुरू करने वाला देश का पहला सरकारी अस्‍पताल बन गया है।कल 58 वर्ष के एक व्‍यक्ति को प्‍लाज्‍मा थेरेपी दी गई।


किंग जॉर्ज मेडिकल विश्‍वविद्यालय के कुलपति प्रो. एमएलबी भट्ट ने इसे एक एहतियात के तौर पर बताया और कहा कि उनका संस्‍थान कि भारतीय चिकित्‍सा अनुसंधान परिषद की ओर से प्लाज्‍मा थैरेपी को अनुमति दिए जाने के बाद से ही इसकी तैयारी कर रहा था। इसके लिए प्‍लाज्‍मा उन 3 मरीजों से लिया गया जो कि केजीएमयू अपने कोविड संक्रमण का सफलतापूर्वक इलाज करवाकर स्‍वस्‍थ हो चुके थे। मेडिसीन विभाग के एसोसिएट प्रोफेसर डॉ. डी हिमांशु ने बताया कि कोविड संक्रमण से पीडित 58 वर्षीय मरीज की हालत अब पहले से बेहतर है और आज उन्‍हें प्‍लाज्‍मा की दूसरी डोज दी जा सकती है। अगर इस मरीज की तबीयत पूरी तरह से ठीक हो सकती है तो ये कोविड संक्रमण के गंभीर मरीजों को प्‍लाज्‍मा ट्रांसफ्यूजन पद्धति से ठीक करने की दिशा में एक अहम कदम साबित होगा। 

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* विश्‍व खाद्य कार्यक्रम के प्रमुख डेविड बिसले ने कहा है कि कोरोना महामारी से केवल विश्‍व के समृद्ध देश प्रभावित हुए हैं, बल्कि इसका असर गरीब और युद्धरत देशों पर भी पड़ा है। उन्‍होंने कहा कि यदि खाद्य संबंधी संयुक्‍त राष्‍ट्र की एजेंसी में धन की कटौती की जाती है तो लाखों लोगों को भुखमरी का सामना करना पड़ेगा। श्री बिसले ने कहा कि आपूर्ति श्रृंखला बनाये रखना महत्‍वपूर्ण है, लेकिन इसके लिए निर्यात प्रतिबंध, सीमा तथा बंदरगाहों पर रोक और यातायात अवरोध जैसी कई बाधाएं रही हैं। इससे पहले श्री बिसले ने संयुक्‍त राष्‍ट्र परिषद को चेतावनी दी थी कि एक तरफ जहां विश्‍व कोविड-19 महामारी से निपट रहा है, वही भुखमरी आपदा भी दरवाजे पर खड़ी है और अगर तत्‍काल कदम नहीं उठाया गया तो कुछ ही महीनों में अकाल की स्थिति पैदा हो जाएगी। उन्‍होंने कहा कि विश्‍वभर में 82 करोड़ से अधिक लोग रोजाना भूखे सोते हैं।

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* भारतीय रिजर्व बैंक ने म्‍यूचुअल फंड के प्रवाह को आसान करने के उद्देश्‍य से 50 हजार करोड़ रूपये के म्‍यूचुअल फंड के लिए विशेष सुविधा की घोषणा की है। रिजर्व बैंक ने कहा है कि कोविड-19 के आर्थिक प्रभाव को कम करने के लिए सभी जरूरी कदम उठाएगा और वित्‍तीय स्थिरता सुरक्षित रखेगा 


RBI ने कहा है कि म्यूचुअल फंड के लिए विशेष तरलता सुविधा के तहत, वह निर्धारित रेपो दर पर 90 दिनों का रेपो परिचालन करेगा। एसएलएफ-एमएफ (SLF MF) ऑन-टैप और ओपन-एंड है, और बैंक सोमवार से शुक्रवार (छुट्टियों को छोड़कर) किसी भी दिन धन प्राप्त करने के लिए अपनी बोलियां प्रस्तुत कर सकते हैं। यह योजना आज यानि 27 अप्रैल, 2020 से 11 मई, 2020 तक या आवंटित राशि के उपयोग तक उपलब्ध है। रिजर्व बैंक ने कहा है कि वह बाजार की स्थितियों के आधार पर समय और राशि की समीक्षा करेगा। एसएलएफ-एमएफ (SLF-MF) के तहत मिलने वाली धनराशि का इस्तेमाल बैंकों द्वारा ख़ास तौर पर रुण लेने और निवेश ग्रेड कॉरपोरेट बॉन्ड, कमर्शियल पेपर्स (सीपीडी), और एमएफ  द्वारा आयोजित सीडी और डिबेंचर प्रमाण पत्र की जमानत के लिए और / या रेपो की सीधी खरीद के लिए किया जाता है। 

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* वन और पर्यावरण मंत्री प्रकाश जावडेकर ने कहा है कि पूरा विश्‍व कोविड-19 से निपटने में एकजुट हुआ है और जलवायु परिवर्तन से निपटने में भी इसी तरह के प्रयास की जरूरत है। पीटर्सबर्ग जलवायु संवाद को भेजे संदेश में श्री जावडेकर ने कहा कि कोविड-19 से हमें शिक्षा मिली है कि देश अलग से कार्य नहीं कर सकते क्‍योंकि भविष्‍य सबके साथ जुडा हुआ है।

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* पूर्वोत्तर क्षेत्र के आठ में से पांच राज्य कोरोना मुक्त हैं। अन्य तीन राज्यों में पिछले कुछ दिनों से संक्रमण का कोई नया मामला सामने नहीं आया। पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्री डॉ. जितेंद्र सिंह ने आज पूर्वोत्तर परिषद के वरिष्ठ अधिकारियों की समीक्षा बैठक में यह जानकारी दी। बैठक में शिलंग स्थित पूर्वोत्तर परिषद के वरिष्ठ अधिकारियोंके साथ विभिन्न सरकारी निकायों के प्रतिनिधि भी शामिल हुए।

देश में कोविड 19 संकट के मद्देनज़र पूर्वोत्‍तर राज्‍य एक प्रभावी और अनुशासित स्‍वास्‍थ्‍य प्रबन्‍धन के मामले में एक मॉडल के रूप में उभरा है। उत्‍तर पूर्वी क्षेत्र में पांच राज्‍य सिक्किम, नागालैंड, अरूणाचल प्रदेश, मणिपुर और त्रिपुरापूरी तरह से कोरोना से मुक्‍त हैं। जबकि तीन अन्‍य राज्‍य असम में आठ, मेघालय में 11 और मिज़ोरम में एक कोरोना पॉजि़टिव मामला है। उत्‍तर पूर्व भारत के साथ लगभग 5500 किलोमीटर की अन्‍तर्राष्‍ट्रीय सीमा पूरी तरह से सील है। जिस कारण से कोरोना वायरस के प्रसार को रोकने में मदद मिली है। पूर्वोत्‍तर क्षेत्रों में हैलीकाप्‍टर सेवायें संचालित हैं। जो महत्‍वपूर्ण चिकित्‍सा उपकरण और रोगियों को पहुंचाने का काम कर रहे हैं। 

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* भारतीय रिजर्व बैंक ने म्‍यूचुअल फंड के प्रवाह को आसान करने के उद्देश्‍य से 50 हजार करोड़ रूपये के म्‍यूचुअल फंड के लिए विशेष सुविधा की घोषणा की है। रिजर्व बैंक ने कहा है कि कोविड-19 के आर्थिक प्रभाव को कम करने के लिए सभी जरूरी कदम उठाएगा और वित्‍तीय स्थिरता सुरक्षित रखेगा।

RBI ने कहा है कि म्यूचुअल फंड के लिए विशेष तरलता सुविधा केतहत, वह निर्धारित रेपो दर पर 90 दिनों का रेपो परिचालन करेगा। एसएलएफ-एमएफ (SLFMF) ऑन-टैप और ओपन-एंड है, और बैंक सोमवार से शुक्रवार (छुट्टियों को छोड़कर) किसीभी दिन धन प्राप्त करने के लिए अपनी बोलियां प्रस्तुत कर सकते हैं। यह योजना आज यानि27 अप्रैल, 2020 से 11 मई, 2020 तक या आवंटित राशि के उपयोग तक उपलब्ध है। रिजर्व बैंकने कहा है कि वह बाजार की स्थितियों के आधार पर समय और राशि की समीक्षा करेगा। एसएलएफ-एमएफ(SLF-MF) के तहत मिलने वाली धनराशि का इस्तेमाल बैंकों द्वारा ख़ास तौर पर रुण लेनेऔर निवेश ग्रेड कॉरपोरेट बॉन्ड, कमर्शियल पेपर्स (सीपीडी), और एमएफ  द्वारा आयोजित सीडी और डिबेंचर प्रमाण पत्र की जमानतके लिए और / या रेपो की सीधी खरीद के लिए किया जाता है।

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* भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद ने चीन से खरीदी गई रैपिड एंटिबाडी टैस्ट किट में प्रक्रियागत खामी के दावे का खंडन किया है। रैपिड एंटिबाडी टैस्ट किट का इस्तेमाल कोविड-19 रोगियों की आरंभिक जांच के लिए किया जाता है। परिषद के बयान में कहा गया है कि ऐसी खरीद के लिए निर्धारित प्रक्रिया का पालन किया गया और इस सौदे में शामिल किसी भी पक्ष को अग्रिम राशि का भुगतान नहीं किया गया। धन की किसी भी तरह की हानि की आशंका को खारिज करते हुए परिषद ने कहा है कि जांच किट की तत्काल आवश्यकता के बावजूद यह सुनिश्चित किया गया कि प्रत्येक नियम का पालन किया जाए। सबसे कम बोली लगाने वाले पक्ष को ही अनुबंध दिया गया।

परिषद ने यह भी कहा कि किसी भी बिचौलिए से बचने के लिए विनिर्माता से रैपिड एंटिबाडी टैस्ट किट की सीधी खरीद के प्रयास भी किए गए। विदेशी आपूर्तिकर्ता ने बिना गारंटी के अग्रिम भुगतान की मांगकी थी और समय सीमा की कोई प्रतिबद्धता व्यक्त नहीं की थी इसलिए देश में विशेष डीलरके जरिए अनुबंध किया गया। परिषद ने जांच किट प्राप्त करने के बाद जमीनी स्तर पर इनकीफिर जांच की थी। जांच किट के वैज्ञानिक आकलन के आधार पर यह पाया गया कि ये अपेक्षापर खरी नहीं उतरती। इसलिए आर्डर कैंसिल कर दिया गया।

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* लोगों के स्वस्थ रहने औररोग प्रतिरोधी क्षमता बनाए रखने में खाद्य और पोषण महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। नईदिल्ली में लेडी इर्विन कॉलेज में खाद्य और पोषण विभाग की निदेशक डॉ. अनूपा सिद्धूने कहा कि लोगों को जंक फूड से बचना चाहिए और ताजा तथा अच्छी तरह पका हुआ भोजन करना चाहिए। 

समाचार पत्रों की सुर्खियों से- 

 

* प्रधानमंत्री की आज राज्यों के मुख्यमंत्रियों से होने वाली वीडियो कान्फ्रेंस अखबारों की अहम खबर है। जनसत्ता का कहना है- एक दिन में संक्रमण के सबसे ज्यादा मामले। प्रधानमंत्री आज करेंगे मुख्यमंत्रियों से बात। छह राज्यों ने पूर्ण बंदी बढ़ाने को कहा। हिन्दुस्तान की सुर्खी है महाराष्ट्र, गुजरात और मध्यप्रदेश में हालात चिंताजनक। राजधानी दिल्ली में एक दिन में दो सौ तिरानवे नए मरीज। मध्यप्रदेश के इंदौर में ज्यादा प्रकोप। दैनिक भास्कर लिखता है- गुजरात और इंदौर में ज्यादा मौतों पर वुहान जैसे वायरस का शक। सबसे घातक है वुहान का एल स्ट्रेन वायरस। राजस्थान पत्रिका की सुर्खी है- सिर्फ सात राज्यों में ही कोरोना के 80 प्रतिशत मरीज। मृतकों में भी 85 फीसदी इन्हीं राज्यों से। संक्रमण से 22 फीसदी हुए ठीक। 

* आकाशवाणी से प्रधानमंत्री की मन की बात अखबारों की सुर्खियां हैं। जनसत्ता का शीर्षक है- संक्रमण ने बदला समाज का नजरिया। प्रधानमंत्री ने भारतीय परम्परा में एक दूसरे की मदद के भाव का जिक्र किया। अमर उजाला लिखता है- अति आत्मविश्वास नहीं पालें कि हमारी गली नहीं पहुंचेगी बीमारी।

* नवभारत टाइम्स कहता है- जी. एस. टी. राहत पैकेज पर विचार कर रही है सरकार। कोरोना से सबसे ज्यादा प्रभावित सेक्टरों को दी जा सकती है छूट। दैनिक जागरण की सुर्खी है- कोविड टैक्स की सलाह देने वाले भारतीय राजस्व सेवा के अधिकारियों की जांच के आदेश। केन्द्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड ने स्पष्ट किया रिपोर्ट में सुझाए उपायों से उसका कोई लेना देना नहीं।