आधिकारिक बुलेटिन -1 (12-Feb-2019)
दिसंबर, 2018 में औद्योगिक विकास दर 2.4 प्रतिशत रही
(Industrial growth was 2.4 percent in December 2018)

Posted on February 12th, 2019 | Create PDF File

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दिसम्बर, 2018 में औद्योगिक उत्‍पादन सूचकांक (आईआईपी) 133.7 अंक रहा, जो दिसम्बर, 2017 के मुकाबले 2.4 फीसदी ज्‍यादा है। इसका मतलब यही है कि दिसम्बर, 2018 में औद्योगिक विकास दर 2.4 फीसदी रही। उधर, अप्रैल-दिसम्बर, 2018 में औद्योगिक विकास दर पिछले वित्त वर्ष की समान अवधि की तुलना में 4.6 फीसदी आंकी गई है।

 

सांख्यिकी एवं कार्यक्रम क्रियान्‍वयन मंत्रालय के केंद्रीय सांख्यिकी कार्यालय द्वारा दिसम्बर, 2018 के लिए जारी किये गये औद्योगिक उत्‍पादन सूचकांक के त्‍वरित आकलन (आधार वर्ष 2011-12=100) से उपर्युक्‍त जानकारी मिली है। 14 स्रोत एजेंसियों से प्राप्‍त आंकड़ों के आधार पर आईआईपी का आकलन किया जाता है। औद्योगिक नीति एवं संवर्धन विभाग (डीआईपीपी), केंद्रीय विद्युत प्राधिकरण, पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्रालय और उर्वरक विभाग भी इन एजेंसियों में शामिल हैं।

 

दिसम्बर, 2018 में खनन, विनिर्माण (मैन्‍युफैक्‍चरिंग) एवं बिजली क्षेत्रों की उत्‍पादन वृद्धि दर दिसम्बर, 2017 के मुकाबले क्रमश: (-)1.0 फीसदी, 2.7 फीसदी तथा 4.4 फीसदी रही। उधर, अप्रैल-दिसम्बर 2018 में इन तीनों क्षेत्रों यानी सेक्‍टरों की उत्‍पादन वृद्धि दर पिछले वित्‍त वर्ष की समान अवधि की तुलना में क्रमश: 3.1, 4.7 तथा 6.4 फीसदी आंकी गई है।

 

उद्योगों की दृष्टि से विनिर्माण क्षेत्र के 23 उद्योग समूहों (दो अंकों वाली एनआईसी-2008 के अनुसार) में से 13 समूहों ने दिसम्बर, 2017 की तुलना में दिसम्बर, 2018 के दौरान धनात्मक वृद्धि दर दर्ज की है। इस दौरान ‘तंबाकू उत्पादों के विनिर्माण’ ने 27.9 प्रतिशत की सर्वाधिक धनात्‍मक वृद्धि दर दर्ज की है। इसके बाद 'अन्‍य परिवहन उपकरणों के विनिर्माण' का नम्‍बर आता है जिसने 17.9 प्रतिशत की धनात्‍मक वृद्धि दर दर्ज की है। इसी तरह 'पहनने वाले परिधानों के विनिर्माण' ने 16.5 प्रतिशत की धनात्‍मक वृद्धि दर दर्ज की है। वहीं, दूसरी ओर 'फर्नीचर के विनिर्माण' ने (-) 18.7 प्रतिशत की सर्वाधिक ऋणात्‍मक वृद्धि दर दर्ज की है। इसी तरह 'अन्‍य विनिर्माण' ने (-) 16.4 प्रतिशत और ‘कोक एवं रिफाइंड पेट्रोलियम उत्पादों के विर्निमाण’ ने (-) 5.4 प्रतिशत की ऋणात्‍मक वृद्धि दर दर्ज की है।

 

उपयोग आधारित वर्गीकरण के अनुसार दिसम्बर, 2018 में प्राथमिक वस्‍तुओं (प्राइमरी गुड्स), पूंजीगत सामान, मध्‍यवर्ती वस्‍तुओं एवं बुनियादी ढांचागत/निर्माण वस्‍तुओं की उत्‍पादन वृद्धि दर दिसम्बर 2017 की तुलना में क्रमश: (-) 1.2 फीसदी, 5.9 फीसदी, (-) 1.5 फीसदी और 10.1 फीसदी रही। जहां तक टिकाऊ उपभोक्‍ता सामान का सवाल है, इनकी उत्‍पादन वृद्धि दर दिसम्बर, 2018 में 2.9 फीसदी रही है। इसी तरह गैर-टिकाऊ उपभोक्‍ता सामान की उत्‍पादन वृद्धि दर दिसम्बर, 2018 में 5.3 फीसदी रही।