आधिकारिक बुलेटिन - 2 (30-May-2020)
बिहार राज्‍य जल जीवन मिशन (हर घर जल) की वार्षिक कार्य योजना को मंजूरी
(Annual action plan approved for Bihar under Jal Jeevan mission)

Posted on May 31st, 2020 | Create PDF File

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बिहार राज्य ने अपनी जल जीवन मिशन वार्षिक कार्य योजना को जल शक्ति मंत्रालय के समक्ष विचार और अनुमोदन के लिए प्रस्तुत किया, जिसमें 2020-21 तक चालू नल के पानी कनेक्शन के साथ सभी परिवारों को 100% शामिल करने की योजना है। बिहार राज्य सरकार ने सभी शेष घरों को नल कनेक्शन प्रदान करने का एक महत्वाकांक्षी लक्ष्य निर्धारित किया है। यह एक बहुत बड़ा लक्ष्य है, लेकिन राज्य सरकार ने इस लक्ष्य को हासिल करने के लिए एक रोडमैप तैयार किया है। वर्ष 2020-21 के दौरान सभी 38 जिलों को 100% शामिल करने के लिए एक उचित योजना बनाई जा रही है। बिहार सरकार आकांक्षी जिलों, गुणवत्ता से प्रभावित बस्तियों और अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति के गांवों में 100% चालू घरेलू नल कनेक्शन (एफएचटीसी) प्रदान करने पर विशेष ध्यान दे रही है। बिहार में भूजल और सतही जल की प्रचुरता के कारण, राज्य इस संबंध में सभी प्रयास कर रहा है।

 

राज्य 2020-21 में शेष 1.50 करोड़ घरों में नल कनेक्शन देने की योजना बना रहा है। भारत सरकार ने इसके लिए वर्ष 2020-21 के दौरान 1832.66 करोड़ आवंटित किए हैं।

 

चिलचिलाती गर्मी और कोविड-19 महामारी के दौरान, स्वच्छ पानी का महत्व और भी बढ़ गया है। हाथ धोने और अच्छी स्वच्छता बनाए रखने के लिए साफ पानी की जरूरत होती है। ज्यादातर ग्रामीण आबादी पानी के लिए हैंड पम्‍प या कुओं पर निर्भर करती है, इसके कारण जनता के लिए एक दूसरे से दूरी बनाकर रखना (सोशल डिस्‍टेंसिंग) मुश्किल हो जाता है। इस समस्‍या का एकमात्र समाधान घरेलू परिसर में पीने योग्य पानी का होना है। कोविद-19 महामारी की परीक्षा की इस घड़ी के दौरान, ग्रामीण क्षेत्रों में घरेलू नल कनेक्शन प्रदान करने के इस तरह के प्रयास से निश्चित रूप से महिलाओं और लड़कियों के जीवन को आसान बनाने में सुधार होगा, जिससे उनका कठिन परिश्रम कम करने और उन्हें सुरक्षित बनाने तथा सम्मानजनक जीवन जीने में मदद मिलेगी।

 

हालांकि, पिछले कई वर्षों की तुलना में पानी की स्थिति में काफी सुधार हुआ है, लेकिन एक लंबा रास्‍ता तय करना बाकी है। इसके अलावा, प्रत्‍येक परिवार को नल कनेक्शन प्रदान करने के साथ, बिहार जल संरक्षण, वर्षा जल संचयन, भू-जल प्रबंधन और भूजल को अत्‍यधिक मात्रा में निकालने से रोकने पर समान जोर देना होगा।

 

जल जीवन मिशन (जेजेएम) को राज्यों के साथ साझेदारी में शुरू किया गया है, जिससे 2024 तक गाँवों के प्रत्येक घर के परिसर को एफएचटीसी सक्षम बनाया जा सके। यह परिकल्पना की गई है कि प्रत्येक घर में नियमित और दीर्घकालिक आधार पर निर्धारित गुणवत्ता के 55 आईपीसीडी पीने योग्य पानी की आपूर्ति होगी। सरकार का प्रयास है कि ग्रामीण लोगों के जीवन में सुधार लाकर उनके द्वार पर निश्चित सेवाओं का प्रावधान किया जाए।

 

मिशन को लागू करने के लिए, विभिन्न स्तरों पर संस्थागत व्यवस्था की गई है और राज्य के पीएचई/ग्रामीण जल आपूर्ति विभागों को स्थानीय समुदाय के साथ एक महत्वपूर्ण भूमिका निभानी है। ग्राम पंचायत/ग्राम जल स्वच्छता समिति/उपयोगकर्ता समिति को अपने गाँव में पानी की आपूर्ति की योजना, कार्यान्वयन, प्रबंधन, संचालन और रखरखाव के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है। मिशन के केन्‍द्र में होने की वजह से ग्राम समुदाय में स्वामित्व की भावना पैदा की जानी चाहिए। उम्मीद है कि समुदाय जल गुणवत्ता निगरानी में भी बड़ी भूमिका निभाएगा।

 

ग्रामीण महिलाएं और किशोर लड़कियां रोजमर्रा के इस्‍तेमाल के लिए पानी लाने में अपना बहुत समय और ऊर्जा खर्च करती हैं। इसका परिणाम आय सृजन में महिलाओं की भागीदारी में कमी, लड़कियों के लिए स्कूल के दिनों का नुकसान और स्वास्थ्य पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ने के रूप में सामने आता है। जेजेएम ग्रामीण समुदाय, विशेषकर महिलाओं का जीवनयापन सुगम बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है। महिलाओं को अपनी जरूरतों और आकांक्षाओं को पूरा करने के लिए अपने गांवों में जेजेएम का नेतृत्व करना चाहिए।