अंतर्राष्ट्रीय समसामयिकी 2 (19-July-2021)^यूएनडीपी इक्वेटर प्राइज (UNDP Equator Prize) 2021, 2-भारतीय संगठनों ने जीता^(UNDP Equator Prize 2021, won by 2 Indian organizations)
Posted on July 19th, 2021
अधिमलाई पझंगुडियिनर प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड (Aadhimalai Pazhangudiyinar Producer Company Limited) और स्नेहकुंजा ट्रस्ट (Snehakunja Trust) संरक्षण और जैव विविधता के क्षेत्र में अपने काम के लिए प्रतिष्ठित इक्वेटर पुरस्कार 2021 के 10 पुरस्कार विजेताओं में से हैं।
यूएनडीपी (UNDP ) जैव विविधता के संरक्षण और सतत उपयोग के माध्यम से गरीबी को कम करने के सामुदायिक प्रयासों को मान्यता देने के लिए द्विवार्षिक पुरस्कार देता है।
अधीमलाई पझंगुडियिनर प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड :
अधीमलाई पझंगुडियिनर प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड (Aadhimalai Pazhangudiyinar Producer Company Limited) एक 1,700 सदस्यीय सहकारी है, जिसका प्रबंधन और संचालन पूरी तरह से तमिलनाडु के नीलगिरि बायोस्फीयर रिजर्व (Nilgiri Biosphere Reserve) के स्वदेशी लोगों द्वारा किया जाता है और पिछले आठ वर्षों में इसके काम ने 147 गांवों में विभिन्न प्रकार के वन उपज और फसलें का प्रसंस्करण और विपणन करके आजीविका में सुधार किया है।
स्नेहकुंजा ट्रस्ट (Snehakunja Trust) :
स्नेहकुंजा ट्रस्ट (Snehakunja Trust) ने समुदाय आधारित बहाली और संरक्षण पर ध्यान देने के साथ पश्चिमी घाट और कर्नाटक तट में संवेदनशील आर्द्रभूमि और तटीय पारिस्थितिक तंत्र की रक्षा 45 वर्षों से की है।
अंतर्राष्ट्रीय समसामयिकी 2 (19-July-2021)यूएनडीपी इक्वेटर प्राइज (UNDP Equator Prize) 2021, 2-भारतीय संगठनों ने जीता(UNDP Equator Prize 2021, won by 2 Indian organizations)
अधिमलाई पझंगुडियिनर प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड (Aadhimalai Pazhangudiyinar Producer Company Limited) और स्नेहकुंजा ट्रस्ट (Snehakunja Trust) संरक्षण और जैव विविधता के क्षेत्र में अपने काम के लिए प्रतिष्ठित इक्वेटर पुरस्कार 2021 के 10 पुरस्कार विजेताओं में से हैं।
यूएनडीपी (UNDP ) जैव विविधता के संरक्षण और सतत उपयोग के माध्यम से गरीबी को कम करने के सामुदायिक प्रयासों को मान्यता देने के लिए द्विवार्षिक पुरस्कार देता है।
अधीमलाई पझंगुडियिनर प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड :
अधीमलाई पझंगुडियिनर प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड (Aadhimalai Pazhangudiyinar Producer Company Limited) एक 1,700 सदस्यीय सहकारी है, जिसका प्रबंधन और संचालन पूरी तरह से तमिलनाडु के नीलगिरि बायोस्फीयर रिजर्व (Nilgiri Biosphere Reserve) के स्वदेशी लोगों द्वारा किया जाता है और पिछले आठ वर्षों में इसके काम ने 147 गांवों में विभिन्न प्रकार के वन उपज और फसलें का प्रसंस्करण और विपणन करके आजीविका में सुधार किया है।
स्नेहकुंजा ट्रस्ट (Snehakunja Trust) :
स्नेहकुंजा ट्रस्ट (Snehakunja Trust) ने समुदाय आधारित बहाली और संरक्षण पर ध्यान देने के साथ पश्चिमी घाट और कर्नाटक तट में संवेदनशील आर्द्रभूमि और तटीय पारिस्थितिक तंत्र की रक्षा 45 वर्षों से की है।