आधिकारिक बुलेटिन -5 (21-Sept-2020)
विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्रालय द्वारा विदेशों में रहने वाले भारतीय शोधकर्त्ताओं को रोजगार के बेहतर विकल्पव और अवसर प्रदान करने हेतु आकर्षक विकल्‍प और अवसर प्रदान करने वाली योजनाएं
(Schemes of the Ministry of Science & Technology to provide attractive avenues and opportunities to Indian researchers residing in foreign countries to work in Indian Institutes and Universities)

Posted on September 21st, 2020 | Create PDF File

hlhiuj

विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने विदेशों में रह रहे भारतीय अनुसंधानकर्ताओं को भारतीय संस्थानों और विश्वविद्यालयों में काम करने के लिए आकर्षक विकल्‍प और अवसर प्रदान करने वाली निम्नलिखित योजना बनाई है:

 

विजिटिंग एडवांस्ड ज्‍वाइंट रिसर्च (वज्र) फ़ैकल्टी स्कीम: यह योजना अनिवासी भारतीयों (एनआरआई) और विदेशी भारतीय नागरिकों (ओसीआई) सहित विदेशी वैज्ञानिकों और शिक्षाविदों को सार्वजनिक वित्त पोषित संस्थानों और विश्वविद्यालयों में एक विशिष्ट अवधि तक काम करने के लिए, भारत लाने के लिए है । यह योजना भारतीय शोधकर्ताओं सहित विदेशी वैज्ञानिकों को एक या एक से अधिक भारतीय सहयोगियों के साथ विज्ञान और प्रौद्योगिकी के अत्याधुनिक क्षेत्रों में उच्च गुणवत्ता वाले सहयोगशील अनुसंधान करने के लिए एडजंक्‍ट/विजिटिंग फैकल्टी असाइनमेंट प्रदान करती है ।

 


रामानुजन अध्येतावृत्ति: यह अध्येतावृत्ति,विदेश में रह रहे उच्च क्षमतावान भारतीय शोधकर्ताओं को भारतीय संस्थानों/विश्वविद्यालयों में काम करने के लिए विज्ञान, इंजीनियरिंग और चिकित्सा के सभी क्षेत्रों में आकर्षक विकल्‍प और अवसर प्रदान करती है, । यह,विदेश से भारत लौटना चाह रहे 40 साल से कम उम्र के वैज्ञानिकों और इंजीनियरों के लिए लक्षित है।

 


रामलिंगस्वामी पुनः-प्रवेश अध्येतावृत्ति: यह कार्यक्रम देश के बाहर काम कर रहे उन वैज्ञानिकों (भारतीय राष्ट्रिकों) को प्रोत्साहित करने के लिए है, जो जीवन विज्ञान, आधुनिक जीव विज्ञान, जैव प्रौद्योगिकी और अन्य संबंधित क्षेत्रों में अपने अनुसंधान विषयों का अनुशीलन करने के लिए स्वदेश लौटना चाहेंगे।

 


बायोमेडिकल रिसर्च करियर प्रोग्राम (बीआरसीपी): यह कार्यक्रम शुरुआती, मध्यवर्ती और वरिष्ठ स्तर के शोधकर्ताओं को भारत में बेसिक बायोमेडिकल या क्लिनिकल एंड पब्लिक हेल्थ में अपने अनुसंधान और शैक्षणिक कैरियर को सुव्‍यवस्थित करने के लिए अवसर प्रदान करता है। ये अध्येतावृत्तियां उन सभी पात्र शोधकर्ताओं के लिए उपलब्‍ध हैं जो भारत में काम करना जारी रखना चाहते हैं या यहां काम करने के लिए पुन:स्‍थानन चाहते हैं।

 


भारतीय अनुसंधान प्रयोगशाला में भारतीय मूल के वैज्ञानिक/प्रौद्योगिकीविद (एसटीआईओ): भारतीय मूल के वैज्ञानिकों/प्रौद्योगिकीविदों (एसटीआईओ) को वैज्ञानिक और औद्योगिक अनुसंधान परिषद (सीएसआईआर) प्रयोगशालाओं में अनुबंध आधार पर नियुक्‍त करने का उपबंध है जिससे कि सुविज्ञता के उनके अनुशासन में शोध क्षेत्र का पल्‍लवन हो सके ।

 


वरिष्ठ अनुसंधान एसोसिएटशिप (एसआरए) (वैज्ञानिक पूल योजना): यह योजना मुख्य रूप से विदेशों से लौट रहे उच्च योग्यता वाले उन भारतीय वैज्ञानिकों, इंजीनियरों, प्रौद्योगिकीविदों और चिकित्सा कार्मिकों को अस्थायी प्लेसमेंट प्रदान करने के लिए अभिप्रेत है, जिनका भारत में कोई रोजगार नहीं है। वरिष्ठ अनुसंधान एसोसिएटशिप नियमित नियुक्ति नहीं है, बल्कि एक अस्थायी सुविधा है, जिससे एसोसिएट नियमित पद की तलाश करते हुए भारत में अनुसंधान/अध्‍यापन करने में समर्थ हो सके।