राजव्यवस्था समसामियिकी 1 (12-Aug-2019)^उच्चतम न्यायालय के न्यायाधीशों की संख्या बढ़ाने के विधेयक को राष्ट्रपति की मंजूरी^(President approves bill to increase number of judges of Supreme Court)
Posted on August 12th, 2019
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने प्रधान न्यायाधीश के अलावा उच्चतम न्यायालय में न्यायाधीशों की संख्या 30 से बढाकर 33 किए जाने संबंधी एक विधेयक पर दस्तखत कर दिया है।
उच्चतम न्यायालय (न्यायाधीशों की संख्या) संशोधन विधेयक को इसी सप्ताह संसद की मंजूरी मिली थी।
फिलहाल, शीर्ष न्यायालय में प्रधान न्यायाधीश (सीजेआई) समेत कुल 31 पद हैं। कानून लागू होने के बाद सीजेआई को छोड़कर 33 पद होंगे।
शीर्ष न्यायालय में मामलों की बढती संख्या के मद्देनजर न्यायाधीश के पदों की संख्या में इजाफे के लिए विधेयक लाया गया था। फिलहाल, उच्चतम न्यायालय में करीब 60 हजार मामले लंबित हैं।
यह फैसला ऐसे वक्त हुआ है, जब कुछ दिन पहले देश के प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर शीर्ष न्यायालय में न्यायाधीशों की संख्या बढ़ाने के लिए पत्र लिखा था।
विधि मंत्रालय ने 11 जुलाई को राज्यसभा में एक सवाल के जवाब में कहा था कि शीर्ष अदालत में 59,331 मामले लंबित हैं ।
प्रधान न्यायाधीश ने कहा था कि न्यायाधीशों की अपर्याप्त संख्या के कारण कानून के सवालों से जुड़े महत्वपूर्ण मामलों पर फैसले के लिए जरूरत के मुताबिक संविधान पीठ नहीं गठित हो पा रही।
राजव्यवस्था समसामियिकी 1 (12-Aug-2019)उच्चतम न्यायालय के न्यायाधीशों की संख्या बढ़ाने के विधेयक को राष्ट्रपति की मंजूरी(President approves bill to increase number of judges of Supreme Court)
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने प्रधान न्यायाधीश के अलावा उच्चतम न्यायालय में न्यायाधीशों की संख्या 30 से बढाकर 33 किए जाने संबंधी एक विधेयक पर दस्तखत कर दिया है।
उच्चतम न्यायालय (न्यायाधीशों की संख्या) संशोधन विधेयक को इसी सप्ताह संसद की मंजूरी मिली थी।
फिलहाल, शीर्ष न्यायालय में प्रधान न्यायाधीश (सीजेआई) समेत कुल 31 पद हैं। कानून लागू होने के बाद सीजेआई को छोड़कर 33 पद होंगे।
शीर्ष न्यायालय में मामलों की बढती संख्या के मद्देनजर न्यायाधीश के पदों की संख्या में इजाफे के लिए विधेयक लाया गया था। फिलहाल, उच्चतम न्यायालय में करीब 60 हजार मामले लंबित हैं।
यह फैसला ऐसे वक्त हुआ है, जब कुछ दिन पहले देश के प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर शीर्ष न्यायालय में न्यायाधीशों की संख्या बढ़ाने के लिए पत्र लिखा था।
विधि मंत्रालय ने 11 जुलाई को राज्यसभा में एक सवाल के जवाब में कहा था कि शीर्ष अदालत में 59,331 मामले लंबित हैं ।
प्रधान न्यायाधीश ने कहा था कि न्यायाधीशों की अपर्याप्त संख्या के कारण कानून के सवालों से जुड़े महत्वपूर्ण मामलों पर फैसले के लिए जरूरत के मुताबिक संविधान पीठ नहीं गठित हो पा रही।