राष्ट्रीय समसामियिकी 3 (29-Sept-2019)^आईएनएस नीलगिरि देश को समर्पित^(INS Nilgiri dedicated to the country)
Posted on September 29th, 2019
पी17ए श्रेणी के पहले जलपोत आईएनएस नीलगिरि का शनिवार को यहां ‘मझगांव डॉक शिपबिल्डर्स लिमिटेड’ (एमडीएल) में जलावतरण किया गया।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के साथ उनकी पत्नी सविता सिंह भी मौजूद थीं और उन्होंने परम्परा के अनुसार जलपोत का जलावतरण किया।
राजनाथ सिंह के अलावा नौसेना स्टाफ के प्रमुख एडमिरल करमबीर सिंह और अन्य अधिकारी भी उपस्थित थे।
एमडीएल के सीएमडी कमोडोर (सेवानिवृत्त) राकेश आनंद ने कहा कि आईएनएस नीलगिरि एमडीएल के प्रोजेक्ट-17 अल्फा श्रेणी का पहला जलपोत है। इसके बाद पोतगाह द्वारा नौकाओं का निर्माण किया जाएगा। यह इसकी मौजूदा शिवालिक श्रेणी से अलग है।
उन्होंने कहा कि 2,650 टन के आईएनएस नीलगिरि का निर्माण एकीकृत निर्माण पद्धति का इस्तेमाल करके किया गया है।
उन्होंने बताया कि इसके उन्नत ‘स्टेल्थ’ प्रणाली से लैस होने से ये नौकाएं रडार को चकमा दे पाने में सक्षम होंगी।
आनंद ने कहा, ‘‘ इन जहाजों को भारतीय नौसेना के ‘नौसेना डिजाइन निदेशालय’ (नई दिल्ली) में डिजाइन किया गया है। पी-17ए युद्धपोत अत्याधुनिक प्रणाली से लैस है।’’
राष्ट्रीय समसामियिकी 3 (29-Sept-2019)आईएनएस नीलगिरि देश को समर्पित(INS Nilgiri dedicated to the country)
पी17ए श्रेणी के पहले जलपोत आईएनएस नीलगिरि का शनिवार को यहां ‘मझगांव डॉक शिपबिल्डर्स लिमिटेड’ (एमडीएल) में जलावतरण किया गया।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के साथ उनकी पत्नी सविता सिंह भी मौजूद थीं और उन्होंने परम्परा के अनुसार जलपोत का जलावतरण किया।
राजनाथ सिंह के अलावा नौसेना स्टाफ के प्रमुख एडमिरल करमबीर सिंह और अन्य अधिकारी भी उपस्थित थे।
एमडीएल के सीएमडी कमोडोर (सेवानिवृत्त) राकेश आनंद ने कहा कि आईएनएस नीलगिरि एमडीएल के प्रोजेक्ट-17 अल्फा श्रेणी का पहला जलपोत है। इसके बाद पोतगाह द्वारा नौकाओं का निर्माण किया जाएगा। यह इसकी मौजूदा शिवालिक श्रेणी से अलग है।
उन्होंने कहा कि 2,650 टन के आईएनएस नीलगिरि का निर्माण एकीकृत निर्माण पद्धति का इस्तेमाल करके किया गया है।
उन्होंने बताया कि इसके उन्नत ‘स्टेल्थ’ प्रणाली से लैस होने से ये नौकाएं रडार को चकमा दे पाने में सक्षम होंगी।
आनंद ने कहा, ‘‘ इन जहाजों को भारतीय नौसेना के ‘नौसेना डिजाइन निदेशालय’ (नई दिल्ली) में डिजाइन किया गया है। पी-17ए युद्धपोत अत्याधुनिक प्रणाली से लैस है।’’