आधिकारिक बुलेटिन 4 (15-Feb-2021)
फास्टैग
(Fastag)

Posted on February 15th, 2021 | Create PDF File

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हाल ही में सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने फास्टैग को अनिवार्य घोषित किया है।

सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय ने फैसला किया है कि राष्ट्रीय राजमार्गों पर शुल्क संग्रह प्लाज़ा की सभी लेन को 15 फरवरी/16 फरवरी 2021 की आधी रात से "शुल्क प्लाजा की फास्टैग लेन"( FASTag lane of the fee plaza) के रूप में घोषित कर दिया जाएगा। राष्ट्रीय राजमार्ग शुल्क नियम, 2008 के अनुसार कोई भी वाहन जिसमें फास्टैग नहीं लगा हुआ है अथवा, जिस वाहन में वैध, कार्यात्मक फास्टैग नहीं है, उसे शुल्क प्लाज़ा में प्रवेश करने पर उस श्रेणी के लिए निर्धारित शुल्क का दोगुना शुल्क के बराबर की राशि का भुगतान करना होगा। भारत सरकार के सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय ने यह घोषणा डिजिटल मोड के माध्यम से शुल्क भुगतान को बढ़ावा देने, प्रतीक्षा समय और ईंधन की खपत को कम करने और शुल्क प्लाज़ा के माध्यम से एक आसान और निर्बाध मार्ग प्रदान करने हेतु की है।

 

 

फास्टटैग, एक रेडियो फ्रीक्वेंसी पहचान स्टिकर (RFID) है जो वाहन की विंड स्क्रीन पर लगाया जाता है। जब भी कोई वाहन टोल प्लाजा से गुजरता है तो वहां लगे हुए स्कैनर वाहन के विंडस्क्रीन पर लगे हुए फास्टटैग को स्कैन कर लेते हैं और टोल शुल्क की पेमेंट डिजिटली हो जाती है। इस टैग की वजह से टोल बूथ पर रुकने की जरूरत नहीं होती है। इसके भुगतान का माध्यम नेशनल इलैक्ट्रॉनिक टोल कलेक्शन प्रोग्राम के तरीके से होता है। नेशनल पेमेंट कार्पोरेशन ऑफ इंडिया भुगतान राशि लेती है।

 

उल्लेखनीय है कि फास्टैग की शुरुआत 2016 में हुई थी और चार बैंकों ने उस साल सामूहिक रूप से एक लाख टैग जारी किए थे। नवंबर, 2020 में भारत सरकार के सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय ने अधिसूचना जारी कर एक जनवरी, 2021 से पुराने वाहनों या एक दिसंबर, 2017 से पहले के वाहनों के लिए भी फास्टैग को अनिवार्य कर दिया था। विश्व के अनेक राजमार्गों पर टोल के भुगतान के लिए त्वरित, सुगम और नकदरहित व्यवस्था के रूप में इलेक्ट्रॉनिक टोल का इस्तेमाल किया जा रहा है। ऐसा पहला टोल प्लाजा नार्वे में सन् 1986 में शुरू किया गया था।

 

केंद्रीय मोटर वाहन नियम, 1989

 

केंद्रीय मोटर वाहन नियम, 1989 के अनुसार एक दिसंबर, 2017 से नए चार पहिया वाहनों के पंजीकरण के लिए फास्टैग को अनिवार्य किया गया है। इसके अलावा, परिवहन वाहनों के फिटनेस प्रमाणपत्र के लिए संबंधित वाहन का फास्टैग जरूरी है। राष्ट्रीय परमिट वाले वाहनों के लिए फास्टैग को एक अक्टूबर, 2019 से अनिवार्य किया गया है। नए तीसरे पक्ष बीमा के लिए भी वैध फास्टैग को अनिवार्य किया गया है, यह एक अप्रैल, 2021 से लागू होगा।

 

फास्ट टैग (FASTag) के लाभ

फास्टैग रहने से लोगों को टोल प्लाजा पर पेमेंट के लिए रुकना नहीं पड़ता है। टोल अपने आप कट जाएगा, जिससे समय, ईंधन आदि की बचत होती है। लंबे जाम से बचा जा सकता है। डिजिटल भुगतान को बढ़ावा मिलता है । सड़कों पर चलने वाले वाहनों की सटीक संख्या का पता चल सकेगा।